कोरोना की रिपोर्ट नेगेटिव लेकिन सीटी स्कैन रिपोर्ट के आधार पर अनेक मरीज संक्रमित,,,,, कुछ के फेफड़े 60% तक संक्रमित, ईलाज भी कोरोना पॉजिटिव मानकर ही किया जा रहा है,,,,, 45 वर्ष तक की उम्र वालों में भी संक्रमण की दर अधिक

 


उज्जैन । जिले में तेजी से 45 वर्ष तक के नागरिक  कोरोनाकी चपेट में आ रहे हैं, 22 मई को कोरोना हेल्थ बुलेटिन के मुताबिक 91 पॉजिटिव मरीज सामने आए थे इनमें से 57 मरीज 45 वर्ष तक की उम्र के है, प्रतिशत के हिसाब से 63%, अर्थात 100 में से 63 पॉजिटिव 45 वर्ष तक की उम्र के सामने आ रहे हैं। 22 मई को भी 90 पॉजिटिव में से 61 पॉजिटिव 45 वर्ष तक की उम्र के सामने आए अर्थात 23 मई को भी 68% मरीज जो कोरोना से पीड़ित है 45 वर्ष तक की उम्र के सामने आए, इसके अलावा सीटी स्कैन में भी बड़ी संख्या में कोरोना पॉजिटिव मरीज सामने आ रहे हैं, सूत्रों के मुताबिक ऐसे कई मरीज है जिनकी कोरोना रिपोर्ट नेगेटिव आने के बाद उन्होंने सिम्टम्स होने के कारण सिटी स्कैन करवाया जिसमें उनके फेफड़े आउट ऑफ 25 में से एक से लगाकर 15 तक  संक्रमित  आए,22 मई को लगभग  57 ऐसे मरीज सामने आए जो कोरोना नेगेटिव है, लेकिन उनके फेफड़े संक्रमित थे इनमें से 29 मरीज 45 वर्ष तक की उम्र के है अर्थात 100 में से 51 मरीज 45 वर्ष तक की उम्र के सामने आए जो सिटी स्कैन के मुताबिक पॉजिटिव है। 23 मई को भी ऐसे 73 मरीज चिन्हित किए गए जो सीटी स्कैन के मुताबिक कोरोना पॉजिटिव है, उनका इलाज भी कोरोना पॉजिटिव मानकर ही किया जा रहा है सामने आए 73 मरीज में से 42 मरीज 45 वर्ष तक की उम्र के हैं अर्थात 100 में से 57 मरीज इसी उम्र के हैं। सिटी स्कैन में पॉजिटिव आने वाले अनेक मरीजों की उम्र 18 , 20 ,21, 22,23 और 24 वर्ष है। सिटी स्कैन की रिपोर्ट पर ऐसे अनेक मरीज है जिन्हें कोरोना पॉजिटिव मानकर इलाज किया जा रहा है क्योंकि सिटी स्कैन के मुताबिक उनके फेफड़ों में संक्रमण की दर 5:00 से लगाकर 60% तक फैल चुकी है, मेडिकल साइंस के लिए यह एक बड़ी चुनौती हो सकती है कि जिन मरीजों की रिपोर्ट कोरोना नेगेटिव है उनके फेफड़ों में संक्रमण की दर बहुत ज्यादा है , सीटी स्कैन की रिपोर्ट को ही आधार मान कर उनका इलाज कोरोना पॉजीटिव के रूप में किया जा रहा है,,।