अवंती अस्पताल के मैनेजमेंट से परेशान है मरीजों के परिजन,,,, मैनेजमेंट कुछ समझने को तैयार नहीं,,,,, जांच रिपोर्ट भी गलत आने से मरीजों की जान आफत में,,

 



उज्जैन। शहर में सी एच एल अस्पताल की सौगात के बाद शहर के नागरिक इंदौर की दौड़ लगाने से पहले सीएचएल अस्पताल में इलाज करवाना बेहतर समझते थे लेकिन कुछ समय पूर्व इस अस्पताल को बेच दिया गया और खरीददार ने इसे नया नाम अवंती दिया शुरुआत में तो यहां इलाज करवाने वाले मरीजों को लगा कि व्यवस्थाएं और बेहतर होगी साथ ही अनुभवी चिकित्सकों की टीम का भी सहयोग मिलेगा लेकिन थोड़े ही दिनों में यहां की व्यवस्था है चरमरा गई,नित नए अनुभव हीन प्रयोगों से शहर के अच्छे अस्पताल की दुर्दशा हो रही है । ईलाज करवाने वाली से नया मैनेजर बदतमीज़ी से बात करता है लगता है उसे मरीजो परिजनों की कोई परवाह नही है और न ही अस्पताल चलाने का कोई अनुभव, तीन तीन घण्टों तक चादर दवाई नही मिलती और यह समस्या बताने पर मैनेजर सचिन की बदतमीजी भी बर्दाश्त करनी पड़ती है। नाम ना छापने की शर्त पर एक मरीज के परिजन ने बताया कि शहर के प्रतिष्ठित अस्पताल समझकर अवंती अस्पताल में उसने अपने परिजन को भर्ती कराया लेकिन यहां आकर उसे लगा कि मैनेजमेंट नाम की कोई चीज मौजूद नहीं है यहां तक की मरीज का प्रॉपर तरीके से इलाज करने वाले अनुभवी डॉक्टरों की टीम की भी कमी है डेंगू के इलाज के लिए भर्ती एक बच्चे की 1 घंटे के अंतराल में करवाई गई रिपोर्ट भी अलग-अलग आने से परिवार की चिंता बढ़ गई वह तो अच्छा हुआ कि परिजनों ने सूझबूझ से काम लेकर एक रिपोर्ट को गलत करार देकर बच्चे की जान से खिलवाड़ नहीं करने दिया उज्जैन चैरिटेबल अस्पताल की हालत भी बेहद खराब है पूरा अस्पताल गंदगी से स्वयं को बचाने में अक्षम सिद्ध हो रहा है।इसी भी शिकायत है की तीन तीन घन्टों तक अस्पताल के ही मेडिकल स्टोर से वार्ड तक दवाई नही पहुंचती कई बार तो बाहर से लाई गई दवाई को भी बिल में जोड़ दिया जाता हैं।


समाचार के साथ लगा वीडीयो चैरिटेबल अस्पताल का है